By God in Hindi ख़ुदा की क़सम
ख़ुदा की क़सम क़सम के साथ लोगों पर प्रकट किया है और अब भी इस पर्चे में उस ख़ुदा तआला की क़सम खाकर लिखता हूं जिसके अधिकार में मेरी जान है कि मैं वही मसीह मौऊद हूं जिसकी ख़बर रसूलुल्लाह ﷺ ने उन सही हदीसों में दी है जो सही बुख़ारी तथा सही मुस्लिम तथा दूसरी सही हदीसों में लिखी हैं और अल्लाह पर्याप्त गवाह है। लेखक - मिर्ज़ा ग़ुलाम अहमद अफ़़लाहो अनहो व अह्यदहू 17 अगस्त 1899 ई. (मलफ़ूज़ात जिल्द प्रथम, पृष्ठ -326, 327, रूहानी ख़ज़ाइन जिल्द-2) हज़रत मिर्ज़ा ग़ुलाम अहमद क़ादियानी मसीह मौऊद व महदी माबूद ने अपने दावों के बारे में अपनी विभिन्न किताबों एवं लेखों में जो ख़ुदा तआला की क़समें खाई हैं उनको हमारे आदरणीय मित्र बशीरुद्दीन अलाउद्दीन साहिब सेक्रेटरी तब्ल़ीग़ जमाअत अहमदिया सिकंदराबाद ने इस पुस्तिका में संकलित किया है। इस रूह और दृष्टिकोण के अन्तर्गत हर नेक स्वभाव लोग हज़रत मिर्ज़ा साहिब के दावों पर गम्भीरतापूर्वक विचार करें तथा दूसरी ओर उनके समर्थन एवं सहायता में उनकी जमाअत की सफलता और कामयाबी के ख़ुदाई व्यवहार को देखें ताकि उनको आपके मसीह और महदी के दावे को स्वीकार करने की सामर्थ्य प्राप्त हो और धर्